उदयपुर.नई दिल्ली में सोमवार को राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के हाथों अर्जुन अवार्ड से सम्मानित होने वाली उदयपुर की बेटी अपूर्वी चंदेला ने कहा कि बचपन में जब छोटी थी तो सुना था कि अर्जुन अवार्ड देश का बड़ा सम्मान है, लेकिन आज मुझे यह सम्मान मिला। यह अविस्मरणीय है।
प्रदेश और देशवासियों को दिया धन्यवाद
– फोन पर भास्कर से बातचीत में चंदेला ने कहा कि आज मेरे जीवन का यह सबसे गौरवपूर्ण और बड़ा दिन है।
– इसके लिए देश, राजस्थान और मेवाड़ का लोगों का धन्यवाद, जिनकी बदौलत यह सम्मान मुझे मिला।
– इस सम्मान के साथ चंदेला मेवाड़ की प्रमुख महिला प्लेयर बन गई हैं, जिसे यह सम्मान मिला है।
– उन्होंने कहा कि इस सम्मान से देश की बेटियों में आत्मविश्वास बढ़ेगा।
‘एक पिता के लिए इससे बड़ा क्या सम्मान होगा’
दिल्ली से अपूर्वी के पिता कुलदीप सिंह चंदेला ने भास्कर को बताया कि एक पिता के लिए इससे बड़ा क्या सम्मान होगा कि उसकी बेटी को खेलों का प्रमुख सम्मान अर्जुन अवार्ड मिला। जब अपूर्वी ने शुरुआत की तो हमने नहीं सोचा था कि वो इतना आगे पहुंचेगी। लेकिन जब उसे एक के बाद एक सफलता मिलने लगी तो विश्वास हो गया कि ये बेटी एक दिन देश का नाम करेगी।
उदयपुर में दादी, ताऊ और चाचा ने मनाया जश्न
अपूर्वी को जब दिल्ली में राष्ट्रपति के हाथों अर्जुन अवार्ड मिल रहा था तो यहां उदयपुर के उनके पैतृक निवास पर दादी कैलाश कंवर, ताऊ विक्रमसिंह चंदेला सहित पूरे परिवार की नजरें टीवी पर थीं। सभी के चेहरे पर गौरव का अहसास था। सभी ने अपने परिवार की इस लाड़ली को इस सम्मान की बधाई दी और आशीष दिया और कहा कि इससे बढ़कर चंदेला परिवार के लिए क्या होगा। सभी ने मुंह मीठा कराया और बधाई दी।
नवंबर तक आराम, दिसंबर से मिशन 2020 ओलिंपिक
अपूर्वी ने बताया कि अभी वे कुछ समय आराम करेंगी और उसके बाद दिसंबर से नेशनल टूर्नामेंट शुरू हो जाएंगे। इसके साथ ही वे नए मिशन 2020 ओलिंपिक की तैयारियों में जुट जाएंगी। इसमें जो कमी रियो ओलिंपिक में रह गई थी, उसे पूरा करने का प्रयास करेंगी। इसके लिए कुछ खास ट्रेनिंग भी शामिल होगी।