उदयपुर पुलिस के नाम से रिश्वत लेने वाला आरोपी गिरफ्तार

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भव्या शाह की संदिग्ध मौत के मामले में मांगी थी २५ लाख की रिश्वत, मामले के जांच अधिकारी है डिप्टी गोवर्धन खटीक
उदयपुर। पिछले साल पेसिफिक डेंटल कॉलेज की छात्रा भव्या शाह की संदेहास्पद मौत के मामले में जांच कर रही उदयपुर पुलिस के नाम से २५ लाख रुपए की रिश्वत मांगने के आरोपी को अहमदाबाद की एलिस ब्रिज पुलिस ने गिरफ्तार किया है। इस मामले के जांच अधिकारी डिप्टी गोवर्धनलाल खटीक का कहना है कि गिरफ्तार आरोपी महेंद्र मर्चेंट उन्हें भव्या के घर तक ले गया था। उसके बाद महेद्र से उनका कभी कोई संपर्क नहीं रहा। गुजरात पुलिस के अनुसार आरोपी को पूछताछ के लिए उदयपुर लाया जा रहा है।
सूत्रों के अनुसार भव्या शाह की पेसिफिक यूनिवरसिटी के हॉस्टल में फरवरी, २०१३ में संदेहास्पद मौत हुई थी। इस मामले में भव्या के माता-पिता का कहना था कि जब भव्या की मौत हुई। उसके कुछ समय पूर्व उसकी मां डिम्पल से उसकी मोबाइल पर बात हो रही थी, जिसमें वह स्वयं को बचाने के लिए चिल्ला रही थी। बाद में उसकी मौत का पता चला। आरोप है कि उदयपुर पुलिस ने भव्या की मौत को लेकर गंभीरता से अनुसंधान नहीं किया। इस पर भव्या की मां ने कोर्ट में इस्तगासा दायर करके केस री-ओपन कराने की मांग की। न्यायालय आदेश से केस री-ओपन हुआ, जिसकी जांच डिप्टी गोवर्धनलाल खटीक को सौंपी गई।
जांच अधिकारी के साथ गया था आरोपी : जांच अधिकारी डिप्टी गोवर्धनलाल खटीक उनके रीडर केसरसिंह और कांस्टेबल विष्णु के साथ इस मामले की जांच के लिए अहमदाबाद गए थे, जहां केसरसिंह के रिश्तेदार का दोस्त महेंद्र मर्चेंट उनके साथ भव्या के घर गया था। ये लोग जांच के बाद वापस लौट आए। इस मामले में बाद में महेंद्र मर्चेंट ने भव्या के घर वालों से संपर्क किया और उदयपुर पुलिस के कहने पर केस में मदद करने के नाम पर २५ लाख रुपए की रिश्वत की मांग की। भव्या के परिजनों और महेंद्र के बीच हुई बातचीत के बाद ५० हजार रुपए पेशगी देना तय हुआ। महेंद्र मर्चेंट जब यह राशि लेने पहुंचा, तभी एलिस ब्रिज पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। इस मामले की जांच के लिए महेंद्र मर्चेंट को अहमदाबाद पुलिस उदयपुर लेकर आने वाली है।
भव्या शाह की संदिग्ध मौत के मामले में जांच मुझे सौंपी गई थी। अनुसंधान के लिए जब मैं अहमदाबाद गया था, तब मेरा रीडर केसरसिंह और कांस्टेबल विष्णु मेरे साथ थे। भव्या का घर पालड़ी में है। भव्या के घर तक पहुंचने के लिए रीडर केसरसिंह के दोस्त का रिश्तेदार महेंद्र मर्चेंट हमारे साथ आया था, लेकिन इसके बाद महेंद्र मर्चेंट से हमारा कोई संपर्क नहीं रहा।
-गोवर्धनलाल खटीक, डिप्टी, उदयपुर

Shabana Pathan
Shabana Pathanhttp://www.udaipurpost.com
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