उदयपुर। हमारे शहर विधायक माननीय गृहमंत्री जी इन दिनों अपने विधानसभा क्षेत्र में वार्डों के दौरे पर है,. इसलिए सभी आम जन को सूचित किया जाता है कि गृहमंत्री जी से ना कोई सवाल पूछे ना ही कोई अपनी समस्या बताये,.. यह हमारे मालिक है इनसे गुलामों की तरह पेश आना चाहिए भाई हमारे शहर विधायक जी का सम्मान करें उन्हें पलक पावड़ों पर बैठाइए ,.. बेचारे चार चार साल में ये बड़ी मुश्किल से समय निकाल कर तो आपके वार्डों में आरहे है आपके हाल चाल जानने की नोटंकी करने,.. उस पर भी आप शहरवासी जब देखो तब, कचरा, सफाई, शराब का ठेका, टूटी सड़के जैसी मामूली समस्याएँ लेकर सामने आजाते हो उनका अनादर कर रहे हो। आपको पता नहीं है क्या यह बड़े हाकम है राज्य के गृहमंत्री है इन्हें अपने मालिक है ,… भाई इन्हें तो गुड में तोलो, जब आपके वार्ड में आयें इन्हें सिक्कों में तोलो, केलो में तोलो और अगर यह सब कुछ नहीं कर सकते तो अपने मूंह पर पट्टी बाँध कर गांधी जी के बंदरों की तरह चुपचाप बैठे रहो, तमाशा देखो इनकी बड़ी बड़ी बातें सुनो ताली बजाओ और घर चले जाओ। अगर सवाल किया तो फिर पुलिस जेल में डाल देगी क्यूँ कि तुम आम जनता हो जिसकी इन मंत्रियों के सामने बोलने की कोई ओकात नहीं, अगर समस्या बताई तो वोट कुँए में डालने की हिदायत मिल जाएगी क्यूँ कि तुम मामूली जनता हो और तुम्हारे इक्के दुक्के वोट से कोई फर्क नहीं पड़ता, मंत्री जी हमारे ही गृह क्षेत्र से 25 – 25 हज़ार वोटों से जीतते है तुम लोग क्या समझते हो ये तुम लोगों के 100-५० वोटों से जीतते है,… इनके लिए स्वर्ग से अप्सराएं और देवता आकर वोट करते है और तुम छोटे गरीब लोग 100-५० वोट नहीं देने की धमकी देकर भाईसाब का अपमान कर रहे हो ,.. भाईसाब आपतो लगे रहो,.. इस जनता के वोट कुँए में धकेलते रहो, जो युवा अगर जोश में आकर कुछ बोले तो अपने पास खादी की ठेकेदारी तो हे ही डलवा दो जेल में और पडवा देना जम कर जूते ,.. इस जनता के माजने ही ऐसे है कि यह जूते खाए ,.. आप फ़िक्र नहीं करो ये जनता जुते खा कर गन्दगी में रह कर सड़कों की धुल खा कर वोट आपको ही देगी आप चाहे कितनी भी इनके ऊपर थानेदारी करवा लो कितना भी महिलाओं का अपमान कर लो लेकिन वोट आपको ही मिलना है ,.. बस आप तो एन चुनाव के मोके पर हर समाज के कुछ बिकाऊ ठेकेदारों को खरीद लेना बाकी का काम वो सेट कर देंगे खेर,… अपन इस सेटिंग वाले काम में माहिर है .और भाईसाब कुछ युवा बड़े मूंह चलाने लगे है ज़रा उनको भी देख लीजिएगा में तो कहता हु इन पर देशद्रोह का मुकदमा ठोक दो अरे कुछ नहीं तो राजकार्य में बाधा का ही केस बनवा दो,… अगर ये भी नहीं तो भाईसाब 151 का ही केस बनवा लो बाकी काम आपकी पुलिस कर लेगी, आजकल 151 के केस में भी जेबें भर जाती है आपको नहीं पता होगा खेर क्यूँ नहीं पता होगा खाकी के करता धरता तो आप ही हो।
चलो खेर बात करते करते काफी दूर तक आगये पता नहीं क्या अनाप शनाप बक गया अपन तो बात करा रहे थे इन सवाल करने वालों की इन समस्या बताने वालों की,.. भाईसाब में तो कहता हूँ आपतो टेंशन मत लो ये तो कुछ लोग हे बोलते ही रहते है ,…इन्हें पता ही नहीं पूरा शहर स्मार्ट होते हुए भी कचरे के ढेर से अटा पड़ा है,.. जगह जगह पूरी सड़के खुदी हुई है,.सालों से निर्माण कार्य बड़ी आराम से चल रहे है, ट्राफिक की बेंड बजी पड़ी है,… वह सब इन्हें नहीं दीखता बस आजाते हे अपने अपने गली मोहल्लों की छोटी छोटी समस्या लेकर आखिर आप गृहमंत्री है कुछ तो लिहाज करें,.. आपने चाहे चार साल तक छोटे मोटे नाले नालियों के उदघाटन किया हो लेकिन आप आखिर है तो गृहमंत्री, आपके पास बड़ी बड़ी धाप समस्या लेकर आना चाहिए,..लेकिन क्या है ना भाईसाब ये जनता बड़ी मुर्ख है इं छोटे छोटे कामों में ही खुश हो जाती है,… शहर स्मार्ट हो ना हो इनको गली मोहल्ले स्मार्ट चाहिए,…ना समझ है इन्हें नहीं पता की अगर भाईसाब या अपने कोठारी साहब गली मोहल्ले स्मार्ट करने लगे तो शहर केसे स्मार्ट होगा,… खेर आप तो कटारिया जी एक काम करो मेरी मानो तो,.. आप जिस तरह कांग्रेसियों को चेलेंज देते हो ना की आप मुझसे बहस करलो मुझसे बात करलो खुले मंच आजाओ राजनीति छोड़ दूंगा, पार्टी छोड़ दूंगा,.. बस वेसे ही आप इस जनता को चेलेंज करो कि ये साफ़ सफाई कचरा नाली सड़क जैसे छोटी छोटी सम्स्यापों के अलावा कोई बड़ी समस्या हो तो बताओ,… में ठप्पे के साथ कह सकता हु एक भी हाथ उंचा नहीं होगा क्यूँ कि ये जनता निखट्टू है इन्हें कुछ पता ही नहीं होता यह तो अपनी छोटी छोटी समस्या लेकर बैठी रहती है इनको बड़े कामों से की कोई परवाह ही नहीं ये क्या जाने मंत्री बनाना क्या होता है. आपके नगर निगम के महापौर जी चाहते तो इस जनता को खुश कर सकते थे अपने कार्यकाल में वार्डों में ठीक से काम करवा कर लेकिन आप फ़िक्र मत करो अपने कोठारी जी ने भी सही किया,… छोटे छोटे गरीबों के झोपड़े तोड़ कर बड़े महलों वालों को डरा दिया,.. अब सांप भी मर गया और लाठी भी सोने की हो गयी ,.. वेसे भी गरीब से अपना क्या लेना देना ,.. कहावत तो सुनी होगी गरीब की जोरू शहर की भाभी होती है . चलो चलते चलते फिर कहता हूँ जाने दो क्या कहना ,.. बस ज्यादा कहा हो तो माफ़ करना बाकी ये पब्लिक है एक ज़माना था सब जानती थी और आज ये ज़माना है फेसबुक व्हात्सप और पुरे साधनों के होते हुए भी कुछ नहीं जानती।
व्यंग
Farji news wala hai congressi supporter…….ye gulab ji ki den hai ki garmiyo bhi jheelo mein pani aa rha hai aur jheele labalab hai…
भाईसाहब आम जनता ही पागल हैं इन फेकू लोगो को जब भी वोट लेने आये तभी इनका स्वागत जुतो सै करे। ।ये ही इनकी ओकात है। ।
अच्छा व्यंग है। 🙂