उदयपुर । प्रदेश में कांग्रेस की सरकार भी बन गयी और मुख्यमंत्री के लिए अशोक गहलोत का नाम भी तय हो गया। अब वागड़ और मेवाड़ की जनता की निगाह है जितने वाले कांग्रेस के नेताओं पर की किसको कोनसा मंत्री पद मिलेगा। चर्चाएँ और सोशल मिडिया पर मेसेजों की भरमार है कि मेवाड़ वागड़ से किन किन कद्दावर नेताओं का मंत्री मंडल में जाना तय है।
पूर्व की वसुंधरा सरकार में मेवाड़- वागड़ से कुल छह मंत्री थे। मेवाड़ से गुलाबचंद कटारिया, किरण माहेश्वरी, श्रीचंद कृपलानी, धनसिंह रावत, नंदलाल मीणा व सुशील कटारा को मंत्री बनाया गया था। कुछ समय जीतमल खांट भी मंत्री रहे थे। इसके अलावा हरिसिंह रावत भी मंत्री पद का दर्जा दिया था।
बुधवार को परिणाम घोषणा बाद नवनिर्वाचित विधायकों को जयपुर बुला लिया गया था। सूत्रों की माने तो विधायकों ने मंत्री बनने के लिए तोड़जोड़ शुरू कर दी है। सूत्रों के अनुसार अशोक गहलोत को मुख्यमंत्री बनाया गया है लेकिन मंत्री मंडल में सचिन पायलट की मर्जी को पूरी तवज्जो दी जायेगी , और इसी लिए अधिकतर विधायक अशोक गहलोत और सचिन पायलट के संपर्क में लगातार बने हुए है। चुनाव हार जाने के बाजवूद जयपुर में पार्टी विधायकों की बैठक में भाग जलेने के लिए डॉ. गिरिजा व्यास व एआईसीसीसी मेंबर रघुवीर मीणा को भी जयपुर बुलाया गया है।
कौन कौन है जो बन सकते है मंत्री :
डॉ. सीपी जोशी : पार्टी में वरिष्ठता के नाते डॉ. सीपी जोशी का मंत्री बनना तय है। केंद्रीय नेता व मंत्री नेता रहने के नाते अपने कद के हिसाब से उन्होंने ही इंकार किया तो अलग बात है। सीपी जोशी के मना करने की स्थिति में सुरेंद्र सिंह बामनिया को या राजसमंद जिले से किसी को मंत्री बनाया जा सकता हैं।
महेंद्रजीत सिंह मालवीया : महेंद्रजीत मालवीया बागादौरा के अजेय कांग्रेस प्रत्याशी हैं। पिछली बार वे कैबिनेट में पहली बार में ही शामिल कर लिए गए थे वागड़ के सबसे कद्दावर नेता माने जाते है ।
दयाराम परमार : दयाराम परमार आदिवासियों में अच्छी पकड़ रखने वाले नेता हैं। उदयपुर लोकसभा सीट को मजबूत करने के लिए परमार को मंत्री बनाया जाएगा, उदयपुर जिले से आदिवासी विधायक भी एक मात्र परमार ही हैं।
गजेंद्रसिंह शक्तावत : गजेंद्र सिंह शक्तावत के साथ उनके पिता पूर्व
गृहमंत्री स्व. गुलाबसिंह शक्तावत का नाम है। पिछली बार भी गहलोत । सरकार में उन्हें संसदीय सचिव बनाकर मंत्री का दर्जा दिया गया था। उदयलाल आंजना : निंबाहेड़ा से दूसरी बार विधायक बने हैं। सीपी जोशी व दयाराम मंत्री बने तो आंजना का बनना रूक सकता हैं क्यों कि आंजना |सीपी समर्थक हैं। दयाराम व गजेंद्र सिंह भी सीपी जोशी से जुड़े हुए हैं।
राजेंद्र विधुड़ी : यदि आंजना को मंत्री नही बनाया जाता है तो विधुड़ी बनाए
जाएंगे। चित्तौड़गढ़ जिले से आंजना व विधुड़ी दो ही विधायक हैं। प्रतापगढ़ जिले की प्रतापगढ़ सीट से मंत्री नंदलाल मीणा के पुत्र को हराने वाले रामलाल को भी मंत्री बनाया जा सकता है। इंगरपुर जिले में कांग्रेस
से जितने वाले सभी पहली बार विधायक बने हैं जिनमें से किसी को मंत्री पद मिल सकता है।