उदयपुर। नगर निगम के सफाई कर्मियों ने आज शहर भर में कोहराम मचा दिया स्मार्ट सिटी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वछता अभियान की धज्जियां उड़ा दी। अपनी मांगे मनवाने के लिए कार्य का बहिष्कार तो किया ही और शहर की सडकों चौराहों पर गन्दगी फेला दी। सफाई कर्मी की इस हरकत पर शहर के आम नागरिक में आक्रोश छा गया। और सफाई कर्मियों के खिलाफ कारवाई तक के लिए आवाज़ उठाने लग गयी।
नगर निगम की महिला सफाई कर्मी की मौत के बाद मंगलवार को सफाई कर्मियों की हड़ताल के दौरान सफाई कर्मियों ने पुरे शहर में गन्दी और अपराधिक हरकतों को अंजाम देते हुए शहर भर के रास्ते और चौराहों पर गन्दगी फेला दी। नगर निगम महापौर सहित अधिकारी और पार्षदों ने खुद सडकों से गन्दगी हटाई। दिन भर के हंगामे के बाद शाम को निगम प्रशासन और सफाई कर्मियों में समझोता हुआ और हड़ताल रद्द की गयी।
सोमवार को महिला सफाई कर्मी प्रेमी बाई बायोमेट्रिक मशीन पर हजारी लगाने गयी और मशीन पर चार बार पंच करने पर भी हाजरी नहीं लगी तो तनाव के चलते प्रेमी बाई की मौत हो गई। जिसको लेकर आज सफाई कर्मियों ने शहर में सफाई कार्य का बहिष्कार करते हुए हड़ताल कर दी थी। हड़ताल के दौरान सफाई कर्मियों ने अपनी हट धर्मिता दिखाते हुए शहर जगह – जगह रखे हुए कचरे के कंटेनरों को सडकों पर बिखेर दिया। पुरे शहर की रोड और चोराहे, गदगी से भर दिए। सफाई कर्मियों के इस कृत्य से समूचे शहर वासी आक्रोशित हो गए। हर जगह रास्तों में गन्दगी बिखरी हुई थी। कई जगह तो क्षेत्र वासियों ने खुद सफाई कर कंटेनर भरे। सुबह दस बजे तक यह खबर जैसे ही महापौर चन्द्र सिंह कोठारी को लगी तो एक बार वह भी आक्रोशित हुए और पार्षदों और अधिकारियों के साथ बापूबाजार, नेहरू गार्डन, अश्विनी बाजार, सूरज पोल पंचवटी आदि कई जगह की सफाई कर दी। महापौर सुबह से दिन तक सडकों की सफाई करवाते रहे।।
दिन भर रहा धरना शाम को हुआ समझोता :
नगर निगम सफाई कर्मियों के कार्य के बहिष्कार के बाद वाल्मीकि समाज के महिला पुरुष और सफाई कर्मी सुबह से नगर निगम में धरने पर बैठे रहे और नगर निगम कमिश्नर और महापौर के खिलाफ नारे बाजी करते रहे। शाम को सफाई कर्मियों के प्रतिनिधि एवं प्रशासन के बिच समझोता हुआ जिसमे बायो मेट्रिक मशीन हटाने के अलावा सभी मांगे मान ली गयी। मृतका प्रेमी बाई के आश्रितों को डेड लाख रुपया निगम द्वारा और पांच लाख रुपया श्रम विभाग में जमा करवा कर नियमानुसार दिया जाएगा। नियमों के अंतर्गत मृतका के आश्रित को नोकरी दी जायेगी। बायोमेट्रिक मशीनों को हटाने की बात निगम प्रशासन ने नहीं मानी। महापौर और आयुक्त सिद्धार्थ सिहाग ने बिलकुल साफ़ कर दिया कि बायोमेट्रिक मशीन नहीं हटाई जा सकती अलबत्ता इनमे सुधार किया जा सकता है | जमादार को भी एक एक हेंडी मशीन देदी जायेगी जिससे कि मोके पर ही हजारी हो सकेगी। समझोता वार्ता के दौरान नगर निगम आयुक्त सिद्धार्थ सिहाग, एडीएम ओ पी बुनकर, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजेश भारद्वाज, मोजूद थे एवं सफाई कर्मियों के प्रतिनिधियों में मुरली मनोहर बंडू, पुष्कर चोहान, केलाश गहलोत, रवि राठोड, काजल आदिवाल, ललिता कल्याण, बाबूलाल गवरी, राकेश खोखावत , पवन खोथारी आदि मोजूद थे।
पारस सिंघवी के पक्ष में लगे नारे :
सफाई कर्मी की हड़ताल के दौरान निगम बोर्ड की आतंरिक गुटबाजी और महापौर और पार्षदों के बिच की दुरी भी नज़र आई। धरने पर बैठे सफाई कर्मी एक बार तो निर्माण समिति अध्यक्ष पारस सिंघवी के पक्ष में भी नारे लगाने लग गए। उन्होंने महापौर को बदलने और हमारा महापौर पारस सिंघवी जैसा हो के नारे लगा दिए। जानकारी के अनुसार कई सत्ता पक्ष के पार्षद ही जो महापौर चादर सिंह कोठारी से नाराज़ थे वो इस सब हंगामे का दूर से मजा लेते रहे और सफाई कर्मियों के प्रतिनिधियों को हड़ताल की हवा देते रहे।
महापौर की चेतावनी चार गिरफ्तार :
दिन भर चले घटना क्रम में नगर निगम के महापौर चन्द्र सिंह कोठारी ने सडकों की हालत देख कर चेतवानी भरे लहजे में साफ़ कर दिया था कि एसी हरकत बर्दाश्त नहीं की जायेगी और अब एसी हरकत करने पर कानूनी कारवाई भी की जा सकती है। बापूबाजार में बेंक तिराहे पर वाल्मीकि समाज के कुछ युवक मोटर साइकिल पर आकार महापौर को ही कहने लगे कि सफाई क्यों कर रहे हो क्या तुम सफाई करवाले हो का ? महापौर चन्द्र सिंह कोठारी ने दो टुक जवाब देते हुए कहा कि हाँ में सफाई कर्मी हू। मोके पर मोजूद पुलिस कर्मियों को भी महापौर ने कहा कि अब अगर कोई गन्दगी फेलाता हुआ दिखे तो पुलिस कारवाई की जाये।
भूपाल पूरा पुलिस ने अशोकनगर स्थित महापौर के मकान के सामने डम्पर चालक को धमकाने और शराब के नशे में हुड़दंग करने के मामले में ६० पुलिस एक्ट में कारवाई करते हुए चार युवक जावर खोखावत, रवि कल्याण, प्रदीप और विजय कल्याणा को गिरफ्तार किया।