उदयपुर .18 जनवरी हिन्दुस्तान जिंक लिमिटेड ने गुरूवार को आयोजित अपनी निदेशक मण्डल की बैठक में 31 दिसम्बर 2017 को समाप्त तीसरी तिमाही व नौःमाही के वित्तीय परिणामों की घोषणा की।
‘‘हिन्दुस्तान जिंक के चेयरमैन श्री अग्निवेष अग्रवाल जी ने कहा कि मुझे यह बताते हुए अति प्रसन्नता हो रही है कि वर्ष के दौरान अब तक के कुल उत्पादन में भूमिगत खदानों का 85 प्रतिशत योगदान रहा है और कंपनी अपने भूमिगत खनन में बदलाव के लिए पूरी तरह से सफल रही है। हमारी परिवर्तनकारी यात्रा में, गत छः वर्षों में लगातार धातु कीमतों में वृद्धि, उत्कृष्ट उत्पादन, लाभप्रदता और रिकाॅर्ड लाभांश दिया है। कंपनी 1.2 मिलियन मैट्रिक टन खनित धातु उत्पादन करने के लक्ष्य की ओर अग्रसर है।’’
वित्तीय वर्ष 2018 की तीसरी तिमाही में खनित धातु का उत्पादन 240,000 टन हुआ है जो पिछली तिमाही की तुलना में 10 प्रतिषत अधिक है। तिमाही के दौरान रामपुरा आगुचा ओपन कास्ट व भूमिगत खदान अयस्क का सकारात्मक उत्पादन रहा है। नौःमाही के दौरान खनित धातु का उत्पादन 693,000 टन हुआ है जो गतवर्ष की समान अवधि की तुलना में 16 प्रतिशत अधिक है।
एकीकृत जस्ता धातु का 200,000 टन उत्पादन हुआ जो इसी वर्ष की पहली तिमाही की तुलना में 4 प्रतिषत अधिक है। एकीकृत सीसा धातु का उत्पादन 46,000 टन रहा है जो पिछली तिमाही की तुलना में 20 प्रतिषत अधिक है। चांदी धातु का उत्पादन 132 मैट्रीक टन हुआ जो पिछली तिमाही की तुलना में 6 प्रतिषत कम परन्तु गतवर्ष की समान अवधि की तुलना में 12 प्रतिषत अधिक दर्षाता है।
नौःमाही के दौरान एकीकृत जस्ता, सीसा एवं चांदी का उत्पादन गतवर्ष की तुलना में क्रमशः 28 प्रतिशत, 26 प्रतिशत एवं 24 प्रतिशत अधिक रहा है जो सकारात्मक खनित धातु की उपलब्धता के अनुरूप रहा है।
वित्तीय वर्ष की तीसरी तिमाही के दौरान कंपनी ने 2,230 करोड़ रुपये का श्ुाद्ध लाभ अर्जित किया है। कंपनी ने 5,846 करोड़ रुपये का राजस्व अर्जित किया जो पिछली तिमाही की तुलना में 12 प्रतिषत तथा गत वर्ष की समान अवधि की तुलना में 10 प्रतिषत अधिक है।
उत्पादन परिदृश्य के अनुसार वित्तीय वर्ष 2018 में रिफाइण्ड जस्ता-सीसा धातु का उत्पादन लगभग 950,000 टन तथा रिफाइण्ड चांदी धातु का उत्पादन 500 टन से अधिक होने की संभावना है।
हिन्दुस्तान जिंक के हेड-कोर्पोरेट कम्यूनिकेषन पवन कौषिक ने बताया कि रामपुरा-आगुचा खदान का तिमाही के दौरान 5,958 मीटर तक विस्तार किया गया है जो पहले से 11 प्रतिशत अधिक है। तिमाही के दौरान कंपनी की सिन्देसर खुर्द खदान का 4,527 मीटर तक विस्तार किया गया है। सिन्देसर खुर्द खदान के मेन शाफ्ट का कार्य पूरा हो गया है। कंपनी की खदान विकास एवं विस्तार कार्य के तहत ऊर्जा विकास परियोजना का कार्य प्रगति पर है। सिन्देसर खुर्द खदान का 1.5 मिलियन टन मिल बनाने का कार्य प्रगति पर है तथा वित्तीय वर्ष 2019 की दूसरी तिमाही तक पूरा हो जाने की संभावना है।
जावर खदान का तिमाही के दौरान 6,555 मीटर तक खदान विस्तार किया गया है। जावर मिल डी-बोटलनेकिंग के 2.7 एमटीपीए पूरा होने के बाद 2.0 एमटीपीए की नई मिल के लिए विस्तृत इंजीनियरिंग और साइट निर्माण कार्य शुरू किया गया है। नई मिल वित्तीय वर्ष 2019 की तीसरी तिमाही तक पूरा होने की संभावना है।
चंदरिया में फ्यूमर प्रोजेक्ट का कार्य प्रगति पर है। सिविल कन्स्ट्रक्शन का 70 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है तथा निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार वित्तीय वर्ष 2019 के मध्य तक पूरा होने की संभावना है।
तीसरी तिमाही के मुख्य आकर्षण
-240,000 टन खनित धातु का उत्पादन – जो 10 प्रतिषत अधिक है।
-245,000 टन रिफाइन्ड जस्ता-सीसा धातु का उत्पादन-जो 7 प्रतिषत अधिक है।
-132 मीट्रिक टन रिफाइन्ड चांदी का उत्पादन – जो 6 प्रतिषत कम है।
-3,261 करोड़ रुपये का ईबीआईटीडीए – जो 7 प्रतिषत अधिक दर्षाता है।
नौःमाही के मुख्य आकर्षण
-693,000 टन खनित धातु का उत्पादन – जो 16 प्रतिषत अधिक है।
-704,000 टन रिफाइन्ड जस्ता-सीसा धातु का उत्पादन – 28 प्रतिषत अधिक है।
-387 मीट्रिक टन रिफाइन्ड चांदी का उत्पादन – जो 24 प्रतिषत अधिक है।
-8,717 करोड़ रुपये का ईबीआईटीडीए – जो 46 प्रतिषत अधिक दर्षाता है।