अहमदाबाद। गुजरात के अहमदाबाद में पुलिस रिकॉर्ड्स में हिंदू-मुस्लिम बस्तियों को अजीबोगरीब ढग से बांटने का मामला सामना आया है। पुलिस ने एक विवाद में आरोपियों के खिलाफ एफआईआर में उन्हें पाकिस्तान का रहने वाला बताया है। दरअसल अहमदाबाद के जुहापुरा में सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी रहती है, जिसे पाकिस्तान या छोटा पाकिस्तान के नाम से जाना जाता है। वहीं कुछ दूर ही वेजलपुर है जहां हिंदुओं की आबादी ज्यादा होने के कारण हिंदुस्तान नाम दिया गया है। साथ ही इसे बांटने वाली सड़क को वाघा बॉर्डर के नाम से जाना जाता है।
क्या है मामला?
राखियल पुलिस स्टेशन ने लड़ाई के एक मामले में एफआईआर दर्ज की गई जिसमें शामिल होने वाले दो लोगों बाबू अजीजभाई और फैजान अजीजभाई वाटवा को पाकिस्तान का रहने वाला बताया है। असल में अहमदाबाद का यह मिनी पाकिस्तान असल में एक हाउसिंग एन्क्लेव है। यहां पर साबरमती नदी के किनारे चल रही एक योजना के कारण वहां बनी झुग्गियों में रह रहे लगभग 2,500 मुस्लिम परिवारों को पुर्नस्थापित किया गया है। यहां एक ब्लॉक ऐसा है जहां दोनों समुदायों की आबादी रह रही है उसे ‘सद्भावना नगर’ का नाम दिया गया है।
पुलिस चौकी का नाम है ‘सद्भावना चौकी’
2 साल पहले पत्थर फेंके जाने की एक घटना के बाद गुजरात के इस तथाकथिक हिंदुस्तान और पाकिस्तान के बीच एक पुलिस चौकी की भी स्थापना की गई थी, जिसे ‘सद्भावना चौकी’ नाम दे दिया गया। जब इस मामले की पोल खुली तो संबंधित पुलिसकर्मी एक-दूसरे को जिम्मेदार बताने लगे।
लोग हो चुके हैं आदी
स्थानीय लोगों से बातचीत करने पर पता चला कि अब वो लोग इन सबके आदी हो चुके हैं। लोगों का कहना है, ‘हमें तो इन सबकी आदत हो चुकी है। यहां तक कि ऑटोरिक्शा ड्राइवर भी पूछते हैं कि हम हिंदुस्तान जाना चाहते हैं या फिर पाकिस्तान।’