उदयपुर, जीपीएफ एवं राज्यबीमा केस निपटानें के एवज में १० हजार रूपये रिश्वत लेते राजसमंद राज्य बीमा एवं प्रावधायी निधी विभाग के कार्यालय सहायक को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरों टीम ने गिरफ्तार किया।
ब्यूरों के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजेन्द्र प्रसाद गोयल ने बताया कि पीएचइडी विभाग भीण्डर में चपरासी पद पर कार्यरत क्रेसर रोड धोला भाटा भीण्डर निवासी रामचन्द्र पुत्र स्व धनराज भोई ने मृतक पिता के पेंशन, जीपीएफ एवं राज्य बीमा की राशी दिलवानें के एवज में राज्य बीमा एवं प्रावधायी निधी विभाग राजसमंद के कार्यालय सहायक तुलसी नगर हिरणमगरी सेक्टर ५ निवासी राजेन्द्र नुवाल पुत्र भवरलाल के खिलाफ रिश्वत मांगने की शिकायत की। सत्यापन करवाने के बाद योजनानुसार रामचन्द्र गुरूवार रात में सूरजपोल चम्पालाल धर्मशाला के समीप रिश्वत राशी दी।इशारा मिलते ही ब्यूरों के पुलिस उप अधीक्षक राजीव जोशी के नेतृत्व में हेड कास्टेबल हिम्मत सिंह, कास्टेबल जितेन्द्र सनाढ्य, संतोष कुमार, अख्तर, मुनीर, शैलेन्द्र एवं जीप चालक बाबूलाल मय टीम ने इशारा मिलते ही आरोपी को रिश्वत राशी सहित गिरफ्तार कर प्रकरण दर्ज किया।
पूछताछ में पता चला कि रामचन्द्र पिता धनराज भोई पीएचईडी भीण्डर में हैल्पर पद पर कार्यरत थे। जिनका अप्रेल १२ में आकस्मिक निधन होने पर उसे भीण्डर कार्यालय में चपरासी पद पर नोकरी लगाया था। ६ महा से पेशंन चालू करवाने एवं जीपीएफ एवं राज्य बीमा राशी लेने के लिए विभाग में चक्कर लगाने के बाद भी भुगतान नहीं हो पाया। इस पर विभाग के वरिष्ट लिपिक हरिशंकर सालवी ने आरोपी से २ अक्टूबर को राजसमन्द से उदयपुर आने पर हिरणमगरी सेटेलाईट हास्पीटल के समीप मिलवाया। कुछ समय बाद हरिशंकर के चले जाने के बाद आरोपी से हुई बातचीत में उसने ११ हजार रूपये की मांग करते हुए १० हजार में सौदा तय कर उसे कागजाद लेने भीण्डर कार्यालय भेजा। वहां से कागजाद नहीं मिलने पर आरोपी ने रिश्वत राशि लेकर उसे गुरूवार रात में चम्पालाल धर्मशाला के समीप बुलाय था। आरोपी मार्च ८१ से राजकीय सेवा में था तथा मई १२ में स्थानीय कार्यालय से उसका स्थानान्तरण राजसमन्द कार्यालय में हुआ था।