अजमेर. पैसे वाले और जरुरतमंदों को सुंदर और सुशील युवतियों से शादी का झांसा देकर ठगने वाली दुल्हन गिरोह का सोमवार को पर्दाफाश हो गया। दरगाह थाना पुलिस ने गिरोह की सरगना सहित पांच युवक व आठ महिलाओं को धर दबोचा।
गिरोह राजस्थान सहित मध्यप्रदेश, गुजरात, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र में दर्जनों फर्जी शादी रचाकर कईयों को लाखों रुपए की चपत लगा चुकी है।
पुलिस उप अधीक्षक (दरगाह) दिलीप सैनी ने बताया कि पीडि़त कल्याणीपुरा निवासी जानकीलाल और नरवर निवासी सद्दाम ने शिकायत दी थी। पुलिस अधीक्षक नितिनदीप ब्लग्गन के आदेश पर टीम ने नसीराबाद नांदला निवासी गफ्फार पुत्र नूर मोहम्मद को हिरासत में लेकर पूछताछ की।
गफ्फार की इत्तला पर दरगाह इलाके में एक गेस्ट हाउस से सिरोही के स्वरूपगंज निवासी कैलाशचन्द अग्रवाल, अहमदाबाद के खोखरा निवासी नीलेश भाई, बापूनगर निवासी रानी खटीक, इंदौर निवासी नीलेश भाई, इन्दौर के मुशाखेड़ी निवासी राजू राजपूत, महाराष्ट्र दिगरस निवासी आरीफा बी, इंदौर के कानाडिय़ा बंगाली चौराहा निवासी डिम्पल भगत, छिंदवाड़ा निवासी हेमा मराठी, महाराष्ट्र वीर महाजलगांव निवासी लक्ष्मी कापरे, सुनिता आबरे, कमल, सेहरी माजल निवासी अनिता और मध्यप्रदेश खंडवा निवासी सोनू यादव को पकड़ा।
पुलिस ने उनके खिलाफ फर्जी दस्तावेज दिखाकर धोखाधड़ी और माल हड़पने का प्रकरण दर्ज कर लिया।
फर्जी दस्तावेजों का जखीरा
पुलिस को गेस्ट हाउस के कमरे की तलाशी में भारी संख्या में युवक-युवतियों के फोटो, फर्जी आईडी कार्ड, शादी के कागज मिले हैं। पुलिस ने करीब 25 से 30 महिला-पुरुष की शादी व तलाक के इकरारनामे, जेवरात, अंगूठी और 81 हजार 500 रुपए बरामद किए।
यूं बनाते हैं शिकार
गिरोह अपने स्थानीय सम्पर्क सूत्र से मालदार विधुर और अविवाहित पुरुषों को तलाशते। उन्हें जरूरत के मुताबिक शादी कराने का झांसे में लेते। उसे दुल्हन का फर्जी आईडी और फोटो दिखाकर शादी के लिए फांसते। शादी करवाने की एवज में गिरोह डेढ़ से दो लाख रुपए लेता। इसके बाद दुल्हन सुहागरात को दुल्हे के घर से नकदी और ज्वैलरी लेकर चम्पत हो जाती।