उदयपुर। आचार संहिता में फंसे जनता के काम आज से फिर तेजी पकड़ लेंगे। दफ्तरों में गठरियों में बंधी फाइलों की फिर से सार संभाल होगी और टेंडर-वर्क ऑर्डर जैसे काम शुरू हो जाएंगे। विधानसभा चुनाव के चलते 11 दिसंबर तक आचार संहिता लगाई गई थी। इस दौरान नगर निगम और यूआईटी जैसे निकायों में जनता से जुड़े सबसे ज्यादा कार्य अटक गए थे। ऐसे सभी कामों को आज से रफ्तार मिलेगी। निर्वाचन विभाग ने चार नवंबर की शाम 4.30 बजे से लेकर 11 दिसंबर तक आचार संहिता लागू की थी। शाम 4.30 बजे ही कई कार्यों पर रोक लग गई। उसके बाद ऐसे काम नहीं हो सके, जिनसे चुनाव प्रक्रिया पर असर पड़ सकता था। ऐसे में नगर निगम व यूआईटी में होने वाले जनता से जुड़े काम भी अटक गए थे।
साढ़े 3 माह मिलेंगे: आचार संहिता खत्म होने के बाद सरकार और जनता को काम करने के लिए मात्र साढ़े तीन महीने ही मिलेंगे। उसके बाद फिर से आचार संहिता लग जाएगी। लोकसभा का कार्यकाल मई में पूरा हो रहा है।
इसलिए मई अंत या जून प्रथम सप्ताह में लोकसभा चुनाव होने की उम्मीद है और अप्रैल में आचार संहिता लग सकती है। ऐसे में इस तरह के कार्य जो आचार संहिता में प्रभावित होते हैं, उन्हें पूरा करने के लिए दिसंबर के शेष 15 दिन तथा जनवरी से मार्च तक के तीन माह ही मिलेंगे।
चलेगा तबादलों का दौर
नई सरकार आते ही विभागों में जमकर चर्चा शुरू हो गई कि कांग्रेस शासन में जमे अधिकारियों को अब कुर्सी छोडऩी पड़ेगी। सरकार अब अपने ‘पालेÓ के अधिकारियों को नियुक्त करेगी। ऐसे अधिकारियों की सूची में पुलिस व प्रशासन के ऐसे कई अधिकारी हैं, जो पिछली सरकार के समय बदले गए थे, वे उदयपुर आने की तैयारी कर रहे हैं।
निगम और यूआईटी में होंगे काम: कच्ची बस्तियों व मकानों पट्टे बन सकेंगे। भवन निर्माण संबंधी स्वीकृति मिल सकेगी, जो लोग स्वीकृति नहीं मिलने से मकान का निर्माण नहीं कर पा रहे थे, उन्हें राहत मिलेगी। निगम की विभिन्न समितियों की मीटिंग हो सकेगी। समितियां निर्णय ले सकेंगी।
आज से रफ्तार पकड़ेंगे जनता के काम
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